Index Search for 'लोमश' |
Shloka: | लोमश उवाच - भरद्वाजस्तु कौन्तेय कृत्वा स्वाध्यायमाह्निकम् । समित्कलापमादाय प्रविवेश स्वमाश्रमम् ॥ |
Reference: | 3.33.138.0.1(वनपर्व (आरण्यकपर्व)>तीर्थयात्रापर्व>अष्टत्रिंशदधिकशततमोऽध्यायः (138)>श्लोक#1) |
Parva: | वनपर्व (आरण्यकपर्व) |
Upaparva: | तीर्थयात्रापर्व |
Adhyaya: | अष्टत्रिंशदधिकशततमोऽध्यायः (138) |
Akhyana: | |
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