Index Search for 'लोमश' |
Shloka: | युधिष्ठिर उवाच - कथंप्रभावः स बभूव विप्रस्तथायुक्तं यो निजग्राह बन्दिम् । अष्टावक्रः केन चासौ बभूव तत्सर्वं मेलोमश शंस तत्त्वम् ॥ |
Reference: | 3.33.132.0.5(वनपर्व (आरण्यकपर्व)>तीर्थयात्रापर्व>द्वात्रिंशदधिकशततमोऽध्यायः (132)>श्लोक#5) |
Parva: | वनपर्व (आरण्यकपर्व) |
Upaparva: | तीर्थयात्रापर्व |
Adhyaya: | द्वात्रिंशदधिकशततमोऽध्यायः (132) |
Akhyana: | |
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