Index Search for 'लोमश' |
Shloka: | लोमश उवाच - इह मर्त्यास्तपस्तप्त्वा स्वर्गं गच्छन्ति भारत । मर्तुकामा नरा राजन्निहायान्ति सहस्रशः ॥ |
Reference: | 3.33.130.0.1(वनपर्व (आरण्यकपर्व)>तीर्थयात्रापर्व>त्रिंशदधिकशततमोऽध्यायः (130)>श्लोक#1) |
Parva: | वनपर्व (आरण्यकपर्व) |
Upaparva: | तीर्थयात्रापर्व |
Adhyaya: | त्रिंशदधिकशततमोऽध्यायः (130) |
Akhyana: | |
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