Index Search for 'त्रिदिवे' |
Shloka: | त्रिदिवे यस्य सदृशो नास्ति रूपेण कश्चन । अतुल्यत्वात्कृतो देवैर्नाम्ना कामस्तु पावकः ॥ |
Reference: | 3.37.209.0.23(वनपर्व (आरण्यकपर्व)>मार्कण्डेयसमस्यापर्व>नवाधिकद्विशततमोऽध्यायः>श्लोक#23) |
Parva: | वनपर्व (आरण्यकपर्व) |
Upaparva: | मार्कण्डेयसमस्यापर्व |
Adhyaya: | नवाधिकद्विशततमोऽध्यायः |
Akhyana: | |
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