Index Search for 'आर्द्रस्य' |
Shloka: | विष्वगश्वः पृथोः पुत्रस्तस्मादार्द्रस्तु जज्ञिवान् ।आर्द्रस्य युवनाश्वस्तु श्रावस्तस्तस्य चात्मजः ॥ |
Reference: | 3.37.193.0.3(वनपर्व (आरण्यकपर्व)>मार्कण्डेयसमस्यापर्व>त्रिनवत्यधिकशततमोऽध्यायः>श्लोक#3) |
Parva: | वनपर्व (आरण्यकपर्व) |
Upaparva: | मार्कण्डेयसमस्यापर्व |
Adhyaya: | त्रिनवत्यधिकशततमोऽध्यायः |
Akhyana: | |
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