Index Search for 'त्रितयाद्वयवस्येत्।' |
Sutra: | पक्षाद्दशाहादथवाऽप्यकस्मात्तस्यार्धभेदम्त्रितयाद्वयवस्येत्। शङ्खाश्रितो वायुरुदीर्णवेगः कृतानुयात्रः कफपित्तरक्तैह्॥ |
Reference: | 1.1.25.16.0(पूर्व>सूत्र>अष्टविधशस्त्रकर्मीयम्>सूत्र#16.0) |
Tantra: | पूर्व |
Sthana: | सूत्र |
Adhyaya: | अष्टविधशस्त्रकर्मीयम् |
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