Index Search for 'खल्वासीत्पुनर्युद्धं' |
Shloka: | विस्तरेण च मे शंस भीमसेनपराक्रमम् । यद्यच्चक्रे महाबाहुस्तस्मिन्हैमवते गिरौ । नखल्वासीत्पुनर्युद्धं तस्य यक्षैर्द्विजोत्तम ॥ |
Reference: | 3.35.157.0.3(वनपर्व (आरण्यकपर्व)>यक्षयुद्धपर्व>सप्तपञ्चाशदधिकशततमोऽध्यायः>श्लोक#3) |
Parva: | वनपर्व (आरण्यकपर्व) |
Upaparva: | यक्षयुद्धपर्व |
Adhyaya: | सप्तपञ्चाशदधिकशततमोऽध्यायः |
Akhyana: | |
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