Index Search for 'एतदुत्कृत्य' |
Shloka: | यदेतत्सहजं वर्म कुण्डले च तवानघ ।एतदुत्कृत्य मे देहि यदि सत्यव्रतो भवान् ॥ |
Reference: | 3.43.294.0.4(वनपर्व (आरण्यकपर्व)>कुन्दलाहरणपर्व>चतुर्नवत्यधिकद्विशततमोऽध्यायः>श्लोक#4) |
Parva: | वनपर्व (आरण्यकपर्व) |
Upaparva: | कुन्दलाहरणपर्व |
Adhyaya: | चतुर्नवत्यधिकद्विशततमोऽध्यायः |
Akhyana: | |
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